
मंडी शिफ्ट करने का मामला ठंडे बस्ते में, अभी तक नहीं हुई प्रक्रिया पूरी, पढ़ें खबर
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नो डेवलपमेंट एरिया होने के कारण अटकी स्वीकृति
बीना. खुरई रोड पर संचालित कृषि उपज मंडी में सीजन की आवक के समय जगह का अभाव होने के कारण किसानों को परेशान होना पड़ता है। इसके बाद भी मंडी को दूसरी जगह शिफ्ट करने की प्रक्रिया पूर्ण नहीं हो पा रही है। जबकि मंडी शिफ्ट करने के लिए किर्रोद गांव में जगह का चयन कर प्रस्ताव कलेक्टर के यहां कई महीनों पूर्व भेज दिया गया है। स्वीकृति न मिलने के पीछे कारण नो डेवलपमेंट एरिया बताया जा रहा है। मंडी में सीजन के समय जब आवक होती है तो मंडी परिसर कम पडऩे लगता है और खेतों में ट्रैक्टर-ट्रॉली खड़े कराने पड़ते हैं, जहां न किसानों को पानी की व्यवस्था रहती और न ही छांव की। किसानों की परेशानियों को देखते हुए किर्रोद गांव के पास मंडी को शिफ्ट करने की कवायद पिछले वर्ष शुरू हुई थी जो अभी भी पूर्ण नहीं हो पाई है। जबकि किसान जमीन देने के लिए तैयार हैं। यहां 13 हेक्टेयर जमीन पर मंडी बनाने का प्रस्ताव है जो मंडी के लिए पर्याप्त जगह है। यहां मंडी शिफ्ट होने के बाद किसानों को पर्याप्त जगह के साथ-साथ सुविधाएं भी मिलने लगेंगी। पूरी फाइल तैयार कर कलेक्टर के यहां भेजी गई है, लेकिन जिस जगह मंडी बनाने के लिए जमीन देखी गई वह जमीन रिफाइनरी के नो-डवलपमेंट एरिया में आ रही है, जिससे यहां आपत्ति लगाई गई है और इसकी अनुमति अटक गई है। अब मंडी प्रबंधन द्वारा नई जमीन की तलाश शुरू की गई है, लेकिन अभी तक जगह मिल नहीं पाई है। गौरतलब है कि वर्तमान में मंडी की जो जगह है वह बहुत ही कम है और शहर में होने के कारण यहां जगह का दायरा बढ़ भी नहीं पा रहा है। क्योंकि बाजू से जो खेत हैं उनकी कीमत बहुत ज्यादा है।
ब्रिज का काम शुरू होने के बाद बढ़ेगी परेशानी
खुरई रेलवे गेट पर जल्द ही ब्रिज का कार्य शुरू होने वाला है और यह काम शुरू होते ही मंडी आने वाले किसानों को परेशानी होगी, क्योंकि बीच में पिलर खड़े किए जाने हैं और पिलर के कारण बाजू में जगह कम हो जाएगी। जबकि सीजन के समय रोड तक पर ट्रैक्टर-ट्रॉलियां खड़ी हो जाती हैं। यदि शीघ्र ही मंडी शिफ्ट करने की प्रक्रिया नहीं की गई तो आने वाले दिनों समस्या और बढ़ जाएगी।
नो डेवलपमेंट जोन के कारण अटकी स्वीकृति
रिफाइनरी का पांच किलोमीटर तक नो डेवलपमेंट एरिया घोषित किया गया। इसी दायरे में मंडी की जमीन होने के कारण अनुमति नहीं मिल पा रही है। यहां आपत्ति दर्ज कराने की सूचना मिली है। अब नई जगह की तलाश की जाएगी।
संतोष खरे, प्रभारी सचिव, कृषि उपज मंडी